पानी
पानी की हर बूँद है अनमोल इसका नहीं है कोई मोल
हर बूँद है गोल गोल
पानी को तरसते है लोग
नहीं समझते है इसका मोल
तभी तो बहाते है इसे
पानी ही सब कुछ है
ये नहीं जानते है लोग
गर पानी न रहे तो प्यासे
ही रह जायेंगे लोग
पानी है जरुरत सबकी
क्यों नहीं समझते है
नदी और समुन्द्र
सब जाते है सूख
नहीं बचाया अगर पानी
तो चिलायेगे लोग
पानी पानी पर पानी
कहा से आएगा
ये नहीं जानते है
सब लोग
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